नयी दिल्ली,
बजट के बाद भारी बिकवाली के दबाव से गुजर रहे शेयर बाजार की गिरावट की मुख्य वजह अंतरराष्ट्रीय संकेतों को बताते हुए वित्त सचिव हसमुख अधिया ने आज कहा कि बाजार की यह स्थिति इक्विटी निवेश पर दीर्घावधि पूँजीगत लाभ कर (एलटीसीजी) लागू करने के कारण नहीं है।
श्री अधिया ने सीआईआई द्वारा आयोजित कार्यक्रम को संबोधित करते हुए कहा कि हालांकि यह दुर्भाग्यपूर्ण है कि एलटीसीजी ऐसे समय में लागू हुआ है, जब अधिकतर विदेशी बाजार गिरावट के दौर से गुजर रहे हैं।
एमएससीआई सूचकांक में बीते सप्ताह खासकर आखिरी दो दिनों में दुनिया भर के देशों के शेयर बाजार में 3.4 प्रतिशत तक की गिरावट दर्ज की गयी। उन्होंने कहा कि जब पूरी दुनिया के शेयर बाजारों के सूचकांक में गिरावट दर्ज की गयी है तो इसका असर भारतीय शेयर बाजार पर पड़ना लाजिमी है।
वित्त सचिव का कहना है कि घरेलू शेयर बाजार में जारी गिरावट कुछ समय के लिए ही है और जल्द ही वे इससे उबर जाएंगे। ऐसे में यह कहना गलत होगा कि घरेलू शेयर बाजार पर एलटीसीजी का असर है।
उन्होंने यह भी कहा कि एलटीसीजी पर 10 प्रतिशत कर एक रियायती दर है क्याेंकि गैर सूचीबद्ध शेयरों की बिक्री से होने वाले लाभ और अचल संपत्ति पर 20 प्रतिशत कर लगता है।उल्लेखनीय है कि बजट में की गयी एलटीसीजी की घोषणा के बाद से शेयर बाजार में बिकवाली का जोर है।